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नाबालिग से सामूहिक दुष्कर्म मामले में ललितपुर एसपी निखिल पाठक ने बड़ी कार्रवाई की है. इसमें एक आरोपी को गिरफ्तार कर एसएचओ को सस्पेंड कर दिया गया है।
उत्तर प्रदेश (उत्तर प्रदेश) एक बार फिर खाकी वर्दी शर्मनाक हो गई है. ललितपुर (Lalitpurपाली थाने में 22 अप्रैल को नाबालिग से दुष्कर्मपाली थानापहुंचे तो थाना प्रभारी ने पीड़िता को भी अपने हवस का शिकार बना लिया। जिसके बाद पीड़िता एसपी ऑफिस पहुंची और रोई और अपने साथ हुए रेप के बारे में बताया. अब इस मामले में ललितपुर के एसपी निखिल पाठक ने बड़ी कार्रवाई की है. इस मामले में एक आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया है, जबकि थाने के एसएचओ को सस्पेंड कर दिया गया है. बताया जा रहा है कि एसएचओ के कहने पर लड़की की मौसी उसे थाने ले आई थी.
पीड़िता की शिकायत के आधार पर इंस्पेक्टर और मौसी समेत छह लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है. शहर के पाली थाना क्षेत्र के एक मोहल्ले निवासी पीड़िता के परिजनों ने शिकायत में बताया कि 22 अप्रैल को पाली निवासी चंदन, राजभान, हरिशंकर व महेंद्र चौरसिया अपनी नाबालिग बेटी को लेकर गए थे. उसे बहला-फुसलाकर भोपाल। वहां उसे स्टेशन के पास छिपाकर रखा गया था। आरोप है कि चारों ने उसके साथ कई बार दुष्कर्म किया। इसी बीच लड़की की मां 23 अप्रैल को अपनी बेटी के लापता होने का मामला दर्ज कराने थाने पहुंची थी.
‘लड़की गायब नहीं हुई’
नाबालिग की मां की शिकायत पर मामला दर्ज कर पुलिस हरकत में आई। फिर 26 अप्रैल को चारों लड़के उसे उसकी मौसी के साथ लेकर थाना पाली पहुंचे और कहा कि किशोरी गायब नहीं बल्कि भटक गई है.
थाने में बुलाकर किया दुष्कर्म
इसके बाद पाली थाने की पुलिस ने बच्ची को उसकी मौसी के साथ घर भेज दिया. 27 अप्रैल की सुबह लड़की को थाने बुलाया गया और उसका बयान दर्ज किया गया. बयान दर्ज करने के बाद मौसी उसे इंस्पेक्टर के कमरे में ले गईं जहां उसके साथ एक बार फिर दुष्कर्म किया गया। एसएचओ से दुष्कर्म के बाद उसे फिर से मौसी के हवाले कर दिया गया।
चाइल्ड लाइन में नाबालिग ने सुनाई पूरी आपबीती
पुलिस ने 30 अप्रैल को युवती को थाने बुलाकर चाइल्ड लाइन को सौंप दिया। चाइल्डलाइन में काउंसलिंग के दौरान लड़की ने पूरी घटना बताई। पूरा मामला सामने आने के बाद 3 मई को थाना प्रभारी पाली तिलकधारी सरोज के खिलाफ रेप का मामला दर्ज कर उन्हें निलंबित कर दिया गया था. वहीं चंदन, राजभान, हरिशंकर, महेंद्र चौरसिया व चाची गुलाबबाई के खिलाफ अपहरण, सामूहिक दुष्कर्म, साजिश आदि की धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है.
कांग्रेस और समाजवादी पार्टी ने सरकार पर साधा निशाना
इस घटना को लेकर मुख्य विपक्षी दल समाजवादी पार्टी और कांग्रेस ने सरकार पर हमला बोला है. एसपी ने ट्वीट कर कहा, ‘बीजेपी सरकार में सबसे बड़ा सवाल यह है कि किस पर भरोसा किया जाए, किस पर नहीं? ललितपुर में एसओ ने थाने में रेप की शिकायत करने आई नाबालिग को परेशान किया. अब मुख्यमंत्री बताएं कि पीड़ित बेटियां जाएं तो कहां जाएं पीड़िता की सुरक्षा का इंतजाम कर दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा मिले.
एक अन्य ट्वीट में पार्टी ने कहा कि सपा अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव पीड़ित परिवार के सदस्यों से मिलने ललितपुर के लिए रवाना हो गए हैं.
‘महिलाओं के लिए सुरक्षित नहीं है थाना’
कांग्रेस महासचिव और पार्टी की उत्तर प्रदेश प्रभारी प्रियंका गांधी वाड्रा ने भी ट्वीट कर इस घटना पर सरकार का घेराव किया है. प्रियंका ने कहा कि ललितपुर में 13 साल की बच्ची के साथ सामूहिक दुष्कर्म और फिर शिकायत लेकर थानेदार द्वारा दुष्कर्म की घटना से पता चलता है कि कैसे बुलडोजर के शोर में कानून-व्यवस्था के वास्तविक सुधारों को दबाया जा रहा है. उन्होंने सवाल किया कि अगर थाने महिलाओं के लिए सुरक्षित नहीं हैं तो शिकायत लेकर कहां जाएंगे.
एक अन्य ट्वीट में उन्होंने कहा कि क्या उत्तर प्रदेश सरकार ने थानों में महिलाओं की तैनाती बढ़ाने, थानों को महिलाओं के लिए सुरक्षित बनाने के बारे में गंभीरता से सोचा है? प्रियंका ने कहा, कांग्रेस पार्टी ने अपने महिला घोषणापत्र में महिला सुरक्षा के लिए कई अहम बिंदु रखे थे..आज ललितपुर है…ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए महिला सुरक्षा और महिला हितैषी कानून के लिए गंभीर कदम उठाने होंगे.